जनतंत्र, मध्यप्रदेश, श्रुति घुरैया:
मध्यप्रदेश में एक बार फिर आसमान से झमाझम बरसात का दौर शुरू हो गया है। मौसम विभाग ने शुक्रवार (3 अक्टूबर) को जबलपुर समेत प्रदेश के 17 जिलों में भारी से लेकर अति भारी वर्षा का अलर्ट जारी किया है। खासकर रीवा, मऊगंज, सीधी और सिंगरौली जिलों में अगले 24 घंटों के दौरान 8 इंच तक बारिश होने की संभावना जताई गई है। मौसम का यह सिस्टम 4 अक्टूबर तक सक्रिय रह सकता है।
क्यों हो रही है इतनी तेज बारिश?
मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार, देश के पूर्वी और पश्चिमी हिस्सों में डिप्रेशन और डीप डिप्रेशन सक्रिय हैं। साथ ही, दो अलग-अलग चक्रवाती परिसंचरण (Cyclonic Circulation) भी प्रभावी हैं। इनमें से एक सिस्टम सीधे मध्यप्रदेश के पूर्वी हिस्से पर असर डाल रहा है। इसी कारण शुक्रवार से पूरे प्रदेश में तेज बारिश का दौर देखने को मिलेगा। अगले 48 घंटे तक तेज बारिश की संभावना बनी रहेगी।
किन जिलों में कैसा अलर्ट?
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ऑरेंज अलर्ट (अति भारी बारिश – 8 इंच तक)
रीवा, मऊगंज, सीधी और सिंगरौली। -
यलो अलर्ट (भारी बारिश – 4.5 इंच तक)
जबलपुर, सतना, पन्ना, मैहर, दमोह, कटनी, उमरिया, शहडोल, अनूपपुर, डिंडौरी, मंडला, नरसिंहपुर और छिंदवाड़ा। -
अन्य जिलों में हल्की से मध्यम बारिश और गरज-चमक के साथ बौछारें पड़ सकती हैं।
रविवार से सिस्टम कमजोर होना शुरू होगा, हालांकि कहीं-कहीं हल्की बारिश का सिलसिला जारी रह सकता है।
दशहरे पर भी बरसते रहे बादल
प्रदेश में दशहरे के दिन भी बारिश का दौर जारी रहा। नर्मदापुरम में आधा इंच से ज्यादा बारिश दर्ज हुई, जबकि दतिया और नरसिंहपुर में भी लगभग इतनी ही वर्षा हुई। भोपाल, इंदौर, छतरपुर के नौगांव, सागर और टीकमगढ़ में रिमझिम फुहारें पड़ीं।
कब विदा होगा मानसून?
मध्यप्रदेश के 12 जिलों – ग्वालियर, श्योपुर, मुरैना, भिंड, दतिया, शिवपुरी, गुना, आगर-मालवा, नीमच, मंदसौर और रतलाम से मानसून की विदाई हो चुकी है। राजगढ़ और अशोकनगर के कुछ हिस्सों से भी मानसून लौट चुका है।
मौसम विभाग का कहना है कि 10 अक्टूबर तक पूरे प्रदेश से मानसून विदा हो जाएगा। हालांकि, इस बार विदाई की तारीख सामान्य से थोड़ी आगे बढ़ सकती है क्योंकि वर्तमान में सक्रिय सिस्टम बारिश को थामे हुए है।
गौरतलब है कि इस साल मानसून ने प्रदेश में 16 जून को दस्तक दी थी, जो सामान्य तारीख (15 जून) से एक दिन देर से आया था। आमतौर पर 6 अक्टूबर तक मानसून विदा हो जाता है, लेकिन इस बार इसके खिसकने की संभावना है।